चंडीगढ़ /फरीदाबाद - हरियाणा में जल्द निकाय चुनाव होने वाले हैं और आज मेयर पद के लिए नगर निगमों में रिजर्वेशन तय कर दिया गया है, जिनमें गुरुग्राम नगर निगम का मेयर पद BC-A वर्ग के लिए रिजर्व किया गया है। इसके अलावा फरीदाबाद निगम सामान्य वर्ग की महिला के लिए आरक्षित किया गया है। रोहतक और यमुनानगर को SC (महिला) कैटेगरी के लिए रिजर्व किया गया है। इसके अलावा 4 नगर निगम को ओपन रखा गया है। इनमें किसी भी वर्ग का व्यक्ति मेयर पद का चुनाव लड़ सकता है, जिनमें हिसार, पानीपत, करनाल और मानेसर शामिल हैं। फरीदाबाद में चुनाव पहले चरण में होंगे और संभवतः 10 जनवरी के पहले चुनाव तारीख का एलान भी हो सकता है ऐसे में अब शहर में बड़े चर्चे शुरू हो गए हैं कि मेयर का चुनाव देश और प्रदेश में सत्ताधारी पार्टी भाजपा किसे लड़ाएगी।
शहर में जो चर्चाएं हैं उनमे पूर्व मंत्री सीमा त्रिखा, पूर्व मेयर सुमन बाला , भाजपा अनुशासन समिति की प्रदेश अध्यक्ष नीरा तोमर और रेनू भाटिया का नाम भी लिया जा रहा है। सीमा त्रिखा की हाल के विधानसभा चुनावों में टिकट कट गई थी तो नीरा तोमर एनआईटी से टिकट मांग रहीं थीं लेकिन नहीं मिली। रेनू भाटिया को भाजपा ने महिला आयोग की चीफ के रूप में दुबारा कुर्सी सौंपी है ऐसे में कहा जा रहा है कि उन्हें मौका शायद ही मिले। शहर में सबसे ज्यादा चर्चाएं इस बात की हैं कि इनकी उनसे नहीं बनती , उनकी इनसे नहीं बनती ऐसे में वो नहीं चाहेंगे कि ये आगे बढ़ें। जिले के तीन मंत्रियों की किससे बनती है किससे नहीं इस बात के चर्चे हैं।
नीरा तोमर में यही खासियत बताई जा रही है कि उनकी सबसे बनती है। और वो जिस समाज से आती हैं विधानसभा चुनावों में उस समाज के किसी नेता को चुनाव लड़ने का मौक़ा नहीं मिला। नीरा तोमर नगर निगम की पार्षद भी रह चुकी हैं और इस बारे में हरियाणा अब तक ने उनसे बात की तो उन्होंने कहा कि मैं दशकों से पार्टी के लिए पार्टी की सच्ची सिपाही के रूप में कार्यरत हूँ और पार्टी जो आदेश देगी वही करूंगी। उन्होंने कहा कि पार्टी अगर चाहेगी मैं मेयर का चुनाव लड़ूँ तो मैं तैयार हूँ और जीत भी होगी।
जेजेपी , इनेलो, आम आदमी पार्टी , बसपा तो फरीदाबाद में बेदम दिख रहीं हैं। प्रदेश की मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस की तरफ से कुछ नाम शहर में चर्चाओं में हैं जिनमे हरियाणा के पूर्व मंत्री महेंद्र प्रताप सिंह की पुत्रवधू वरिष्ठ कांग्रेसी नेता विजय प्रताप सिंह की धर्मपत्नी वेणुका प्रताप, बल्लबगढ़ की पूर्व विधायिका जो दो बार बल्लबगढ़ से विधायक और हुड्डा सरकार में मुख्य संसदीय सचिव रह चुकी हैं शारदा राठौर ,,उनका भी नाम चर्चाओं में है।
पूर्व मेयर सुमन बाला का माइनस प्वाइंट ये है कि उनके कार्यकाल में नगर निगम के कुछ भ्रष्ट अधिकारी कागजों पर नाली, सड़क वगैरा बनाकर 200 करोड़ रूपये डकार गए और एक इंजीनियर दौलतराम भास्कर गिरफ्तार हुआ और जेल भेजा गया लेकिन एक पैसे की भी रिकवरी नहीं हुई , निगम में आग लगी कुछ कागज़ जल गए और ? इससे नुक्सान फरीदाबाद का हुआ और विकास के पैसे घोटाले की भेंट चढ़ने के कारण तमाम क्षेत्र नरक बन गए और लोकसभा चुनावों में इसका असर दिखा। दो बार अच्छे वोटों से जीत रहे केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्णपाल गुर्जर इस बार उम्मीद के मुताबिक़ मार्जिन से नहीं जीत सके।
विधानसभा चुनावों में भाजपा को अपने कुछ विधायकों की टिकट पर कैंची चलानी पडी क्यू कि उनकी रिपोर्ट बहुत निगेटिव थी ऐसे में शिक्षा मंत्री रहीं सीमा त्रिखा की भी टिकट कट गई और अब क्या उन्हें पार्टी मेयर का चुनाव लड़ाएगी। शहर में इस बात के भी चर्चे हैं। नीरा तोमर के साथ कोई विवाद नहीं जुड़ा है इसलिए उनके नाम की चर्चाएं ज्यादा हैं लेकिन भाजपा कब किसे कैसा मौक़ा दे दे कोई पता नहीं।
Post A Comment:
0 comments: