ज्ञापन में अहेरिया ने मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी व जिला उपायुक्त विक्रम सिंह से मांग की है कि सभी आटो ड्राईवर के लिए प्रशासन कैंप लगाकर लाईसेंस बनवाए। परमिट को 15 दिन पहले न बनवा पाने पर लगने वाली 11 सौ रूपए की पैनल्टी माफ की जाए। सभी आटो स्टैण्डों पर ड्राईवरों व आम लोगों की सुविधा के लिए शौचालय की व्यवस्था की जाए।
फरीदाबाद में आटो में सवारी भरने व उतारने एवं खड़े होने की जगह सुनिश्चित की जाए। एक्सीडेंट की स्थिति में 10 साल की सजा व सात लाख का जुर्माना रद्द किया जाए। आटो रिक्शा में तीन सवारी से ज्यादा बैठी होने पर चालान न किया जाए, क्योंकि हरियाणा में लेबर ग्रेड कम है।
फरीदाबाद के आटो ड्राईवरों को एनसीआर का परमिट दिया जाए, क्योंकि आटो रिक्शा एम्बुलैंस का काम करता है।
किसी भी तरह का नशा करके आटो चलाने वाले के खिलाफ सख्त कानूनी कार्यवाही की जाए। लाईसेंस धारक आटो रिक्शा ड्राईवर के बच्चों को निशुल्क छात्रवृत्ति दी जाए। जिन आटो ड्राईवर के पास अपना मकान नहीं है उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना के साथ जोड़ा जाए। सभी आटो वालो को आटो खरीदने पर सरकारी बैंकों द्वारा लोन की सुविधा दी जाए।
प्रदेशाध्यक्ष वासदेव भील अहेरिया ने कहा कि आटो के फिटनेस सैन्टर में दो आटो चालक प्रतिनिधि भी शामिल किए जाए साथ ही आटो ड्राईवरों की बहन-बेटियों की शादी में आटो द्वारा एक-दूसरे राज्य में अपने परिवार को लाने-ले-जाने की अनुमति दी जाए।
ज्ञापन देने वालों में अन्य के अलावा विभिन्न स्टैण्डों के प्रधान व महासचिव शामिल रहे।
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