जिला एमएसएमई सेंटर के संयुक्त निदेशक द्वारा उक्त स्कीम के तहत आने वाले लाभार्थियों का चयन कर उन्हें योजना के लाभ व उसकी प्रक्रिय के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि योजना के तहत हस्त एवं औजार से पुस्तैनी तौर पर कार्य करने वाले 18 श्रेणियों के कारिगरों को शामिल किया गया।
इसमें मुख्यतः लौहार, सुनहार, कुम्हार, बढई, राजमिस्त्री, मूर्तिकार, खिलौना निर्माता, नाई, दर्जी इत्यादि को स्कीम के तहत प्रदान किये जाने वाले लाभ जैसे विश्वकर्मा प्रमाण पत्र व पहचान पत्र, ज़रूरी प्रशिक्षण व आधुनिक औजार खरीदने के लिए 15,000 रूपये की एकमुश्त राशि ई-वाउचर के तहत प्रदान की जायेगी।
इसके अतिरिक्त प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले लाभार्थियों को अपना कार्य शुरू करने के लिए मात्र 5 प्रतिशत ब्याज दर पर बिना गारंटी पहली ऋण की किश्त 1 लाख रूपये बैंक के माध्यम से प्रदान की जायेगी तथा पहले ऋण की अदायगी उपरान्त द्वितिय ऋण की किश्त के तौर पर दो लाख रूपये का लोन दिया जायेगा। इस प्रकार प्रार्थी द्वारा कुल 3 लाख रूपये का लोन लिया जा सकता है।
इस स्कीम का लाभ लेने के लिए प्राथी की आयु 18 वर्ष या उससे अधिक होनी चाहिए। इस अवसर पर श्री योगेश कुमार, जिला प्रबंधक, सी०एस०सी० ने पंजीकरण प्रकिया के बारे में बताया। उन्होंने बताया कि इसके लिए प्रार्थी को अपने नजदीकी सीएससी केन्द्र पर जा कर पीएम विश्वकर्मा र्पोटल पर पंजीकरण व फार्म भरना होगा जोकि निशुल्क है।
इस अवसर पर जिला सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग केन्द्र, फरीदाबाद से दिनेश कुमार शर्मा, जिला प्रबंधक, सीएससी केन्द्र योगेश कुमार, औद्योगिक विस्तार अधिकारी दीपक, सहायक हिमानी, लिपिक रवि एवं बल्लभगढ़ व तिगांव खण्ड के समस्त सरपंच एवं ग्राम सचिव उपस्थित रहे।
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