भिवानी। देश और दुनिया में बढ़ती तकनीकी के चलते आज दुनिया पाताल से चांद को छूने का प्रयास करती है, तो वह नई-नई खोज के बल पर ऐसा कर पाती है।उपरोक्त विचार आज राष्ट्रीय विज्ञान दिवस के उपलक्ष पर सदाचारी शिक्षा समिति एवं नेताजी सुभाष चंद्र बोस युवा जागृत सेवा समिति के द्वारा विवेकानंद हाई स्कूल में आयोजित कार्यक्रम में विद्यार्थियों के समक्ष संचालिका सावित्री यादव ने व्यक्त करते हुए कहा कि आज विज्ञान के क्षेत्र में तकनीकी को लेकर हमारे देश के विद्यार्थी चांद तक पहुंच रहे हैं। यह बड़े गर्व की बात है। हर दिन में नई-नई खोज की जा रही है वह साइंस टेक्नोलॉजी के माध्यम से ही संभव हो रहा है।
कार्यक्रम के संयोजक राष्ट्रपति पुरस्कार विजेता अशोक कुमार भारद्वाज ने कहा कि आज हम विज्ञान के बल पर चांद पर पहुंचे हैं,चंद्रयान 3 जैसे सफल अभियान में हम दुनिया में अपनी पहचान बना पाए हैं। कहा कि राष्ट्रीय विज्ञान दिवस विज्ञान से होने वाले लाभों के प्रति समाज में जागरूकता लाने और वैज्ञानिक सोच पैदा करने के उद्देश्य से राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद तथा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय के तत्वावधान में हर साल 28 फरवरी को भारत में मनाया जाता है। राष्ट्रीय विज्ञान दिवस रमन प्रभाव की खोज के कारण मनाया जाता है। इस खोज की घोषणा भारतीय वैज्ञानिक सर चंद्रशेखर वेंकट रमन (सर चन्द्रशेखर वेंकटरमन ने 28 फरवरी सन् 1928 को की थी। इसी खोज के लिये उन्हे 1930 में नोबल पुरस्कार दिया गया था।
उन्होंने महत्त्वपूर्ण आयोजनों में वैज्ञानिकों के रिसर्च,प्रयोग,भाषण, निबंध, लेखन, विज्ञान प्रश्नोत्तरी, विज्ञान प्रदर्शनी, सेमिनार तथा संगोष्ठी पर प्रकाश डाला गया। अशोक भारद्वाज ने कहा कि देश में राष्ट्रीय विज्ञान दिवस 2024 का विषय " विकसित भारत के लिए स्वदेशी तकनीक " है, जो भारत की वैज्ञानिक प्रगति में घरेलू नवाचारों के महत्व पर जोर देता है। यह थीम स्वदेशी प्रौद्योगिकियों के बारे में जागरूकता बढ़ाने का प्रयास करती है जो देश के विकास और कल्याण में योगदान दे सकती हैं। इस अवसर पर विज्ञान अध्यापक मास्टर रिंकू सहजलान ने विद्यार्थियों को साइंस टेक्नोलॉजी में प्रयोग करके दिखाए।वही विद्यार्थियों ने भी विज्ञान के क्षेत्र में आगे बढ़ने का संकल्प लिया। इस अवसर पर विद्यालय प्राचार्या समी यादव, कंट्रोलर ग्रेसी मैथ्यू ,समाजसेवी सतीश यादव, मास्टर अमित कुमार, मास्टर कपिल वर्मा , गणितज्ञ सर दयानंद सहित अनेक शिक्षक एवं गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।
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