इस आयोजन की सबसे बड़ी विशेषता यह रही कि इसमें एमएसएमई मंत्रालय के अधिकारी, वित्तीय संस्थानों से जुड़े लोग व उद्योग प्रबंधकों की बड़ी संख्या में उपस्थिति उल्लेखनीय रही। कार्यक्रम में जहां एमएसएमई सेक्टर के ग्रोथ व वर्तमान परिवेश में उनके समक्ष आ रही समस्याओं पर चर्चा की गई, वहीं इस बात पर जोर दिया गया कि देश की अर्थव्यवस्था के विकास के लिए एसएमई सेक्टर को मजबूत बनाना आवश्यक है।
पैनल डिस्कशन में मुख्य अतिथि के रूप में अपने विचार व्यक्त करते हुए एमएसएमई विभाग, भारत सरकार के जॉइंट सेक्रेटरी आशीष सिंह ने कहा कि आवश्यकता इस बात की है कि एसएमई सेक्टर सरकार द्वारा बनाई गई विभिन्न योजनाओं का लाभ उठाएं। आपने बताया कि एसएमई सेक्टर के लिए विभिन्न सब्सिडी स्कीम, GIFT स्कीम में 2% इंटरेस्ट सब्सिडी, SPICE स्कीम में 25% कैपिटल सब्सिडी सहित कई ऐसी योजनाएं हैं जिनका लाभ उठाया जाना चाहिए।
आशीष सिंह ने वर्तमान परिवेश में सोलर एनर्जी, तकनीकी अपग्रेडेशन, कैपिटल फंडिंग, मशीनरी व प्लांट का विस्तार के लिए योजनाओ व एक्सपोर्ट ओरिएंटेड प्रोग्राम का जिक्र करते हुए कहा कि यह हर्ष का विषय है कि आईएमएसएमई ऑफ़ इंडिया इस संबंध में अपने सदस्यों को सभी सुविधाएं प्रदान कर रहा है। आशीष सिंह ने संगठन की मुक्त कंठ से सराहना करते हुए कहा कि यदि अन्य औद्योगिक संगठन भी आईएमएसएमई आफ इंडिया का अनुकरण करें तो एसएमई सेक्टर की ग्रोथ की गति और बढ़ सकती हैं।
पैनल डिस्कशन में एसबीआई बैंक के तपन शर्मा ने एसबीआई से संबंधित विभिन्न योजनाओं की जानकारी देते हुए कहा कि एसबीआई बैंक एसएमई सेक्टर के विकास हेतु अपना योगदान देने के लिए तत्पर है। आपने कहा कि केंद्र सरकार व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एसबीआई ने विभिन्न ऐसी योजनाएं क्रियान्वित की है, जिनका लाभ आसानी से उठाया जा सकता है ।
तपन शर्मा ने ऑनलाइन बैंक लोन संबंधी जानकारी देते हुए कहा कि एसबीआई ने अपना प्लेटफार्म ऑनलाइन किया है, जहां न केवल तुरंत लोन की स्वीकृति मिलती है बल्कि इसके डिसबर्समेंट की प्रक्रिया में भी कुछ घंटे ही लगते हैं।
आपने जानकारी दी कि सरकार की योजनाओं के अनुरूप एसबीआई 5 करोड़ तक के लोन बिना कोलैकट्ल सिक्योरिटी के उपलब्ध कराता है। इस संबंध में उद्यमी एसबीआई की शाखाओ व एसबीआई पोर्टल पर संपर्क कर सकते हैं।
पैनल डिस्कशन में अपने विचार व्यक्त करते हुए आईएमएसएमई ऑफ इंडिया के चेयरमैन राजीव चावला ने कहा कि बैंकिंग सिस्टम को उद्योग हित की भावना के अनुरूप तैयार किया जाना चाहिए । चावला ने लोन फोरक्लोजर पर लगने वाले चार्ज को समाप्त करने की मांग दोहराई। आपने कोलैक्टरल फ्री लोन को एसएमई सेक्टर के साथ-साथ मीडियम इंडस्ट्री को भी मुहैया कराने की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि इस संबंध में तुरंत कदम उठाए जाने चाहिए।
चावला ने कहा कि कॉविड के बाद अर्थव्यवस्था में काफी सुधार आ रहा है। वर्ष 2024 का स्वागत करते हुए आपने कहा कि यह वर्ष सिद्ध कर देगा कि हम वास्तव में विश्व गुरु बनने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में अर्थव्यवस्था को मिल रही सुदढ़ गति का जिक्र करते हुए चावला ने कहा कि सस्टेनेबिलिटी, ग्रीन एनर्जी और सोलर एनर्जी की दिशा में जिस प्रकार अर्थव्यवस्था आगे बढ़ रही है उससे साफ है कि हम वैश्विक स्तर पर विकसित अर्थव्यवस्था की ओर कदम बढ़ा रहे हैं।
चावला ने एसएमई सेक्टर की ग्रोथ के लिए विभिन्न आवश्यकताओं की जरूरत पर बल देते हुए कहा कि ग्रोथ के लिए जहां सरकार, प्रशासन व संबंधित विभागों को उद्योग हित में एकजुटता से कार्य करना होगा और एसएमई उद्योगों के समक्ष आ रही समस्याओं को बारीकी से समझना होगा, वही उद्योगों को भी इसका हिस्सा बनना होगा।
आपने कहा कि इंफ्रास्ट्रक्चर, वित्तीय प्रबंधन व उद्योगों के लिए आसान नीतियों व समस्याओं के समाधान के लिए प्रभावी प्रशासनिक प्लेटफार्म जहां सरकार की जिम्मेदारी है, वहीं उत्पादकता, गुणवत्ता, नई तकनीक के प्रति समर्पण व निरंतर विकास उद्योग के लिए जरूरी है। चावला ने कहा कि इन मिले-जुले कार्यों से ही एसएमई सेक्टर की प्रोग्रेस संभव है।
इस अवसर पर अरुण भारद्वाज द्वारा लिखी गई पुस्तक का विमोचन भी किया गया। कार्यक्रम में आयोजित प्रश्नोत्तरी सैशन में उद्योग प्रबंधकों ने अपनी समस्याओं को रखा, जिनका समाधान विशेषज्ञ द्वारा किया गया।
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