बैठक का आयोजन विधायक राजेश नागर द्वारा बिल्डरों की मनमानी के बारे में विधानसभा के पटल पर बात रखने के बाद सीएम मनोहर लाल के निर्देश पर किया गया था। इस मामले में विधायक राजेश नागर ने बताया कि स्थानीय आरडब्ल्यूए प्रतिनिधियों ने अपनी सीवर, पानी, डेवलपमेंट, बिजली, रखरखाव, सुरक्षा एवं सोसाइटी हैंडओवर संबंधी मांगों को आला अधिकारियों के सामने रखा है।
अधिकारियों ने बिल्डर को स्पष्ट रूप से बिल्डर बायर एग्रीमेंट का पालन करने के लिए निर्देश दिए हैं। ऐसा न करने पर उनके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराने की संभावना जताई है। नागर ने कहा कि आज की बैठक के बाद हमें उम्मीद है कि बिल्डर अपनी ढिढाई पर अंकुश लगाएंगे और जनहित में आगे आएंगे।
नागर ने कहा कि ग्रेफ में रहने वाले सभी निवासी उनके परिवार जैसे हैं और उनमें से अधिकांश निम्न मध्यम वर्ग से हैं जिन्होंने अपनी जिंदगी भर की मेहनत की कमाई से फ्लैट, प्लॉट और फ्लोर खरीदे हैं, लोन लिए हैं। ऐसे में बिल्डर उनके साथ धोखा करेगा तो हम उनके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करेंगे।
आज के खुले दरबार में ग्रेफ के सभी संबंधित आरडब्ल्यूए के प्रतिनिधियों ने भागीदारी कर अपनी समस्याएं रखीं। इनमें से अधिकांश समस्याएं बिल्डर के व्यवहार एवं उनके द्वारा सुविधाएं न दिए जाने, मनमर्जी से सुविधा शुल्क में बढ़ोतरी किए जाने और सोसाइटी का रखरखाव आरडब्ल्यूए को न दिए जाने आदि प्रमुख रूप से शामिल थीं।
इनमें भी बीपीटीपी बिल्डर के खिलाफ सबसे ज्यादा रोष लोगों में देखा गया। चंडीगढ़ से आए आला अधिकारियों ने बिल्डर प्रतिनिधियों को सख्ती से लिया और उन्हें उनका रवैया बदलने के लिए निर्देश दिए। वहीं ऐसा न करने पर उनके खिलाफ शासकीय कार्रवाई करने की भी चेतावनी दी।
टाउन एंड कंट्री प्लानिंग के महानिदेशक टीएल सत्यप्रकाश ने स्पष्ट रूप से कहा कि यह समस्याएं लंबे समय में पैदा हुई हैं। हम इन्हें सभी विभागों के बीच उनकी जिम्मेदारी बांटकर दूर करेंगे। लेकिन बिल्डर अपने रवैये में बदलाव करें अन्यथा हम उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने से भी पीछे नहीं हटेंगे। बैठक में सराय ख्वाजा स्थित कनिष्का टावर की समस्याओं पर भी विचार किया गया।
जिसमें तय हुआ कि आगामी 12 अप्रैल को जिला उपायुक्त एवं नगर निगम आयुक्त बिल्डर एवं निवासियों के साथ बैठक कर मामले का हल निकालेंगे। टावर में रहने वाले बिल्डर पर सुविधा न देने का आरोप लगा रहे हैं वहीं नगर निगम बिल्डर से टावर हैंडओवर न होने के कारण कुछ भी करने में अक्षमता जता रहा है।
इस बैठक में जिला उपायुक्त विक्रम सिंह, नगर निगम आयुक्त जितेंद्र दहिया, एचएसवीपी फरीदाबाद के प्रशासक गरिमा मित्तल आदि वरिष्ठ अधिकारी बड़ी संख्या में मौजूद रहे।
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