चण्डीगढ, 6 जनवरी - हरियाणा के मुख्य सचिव संजीव कौशल ने राज्य के सभी जिलों के अतिरिक्त उपायुक्तों को समग्र शिक्षा की गतिविधियों की प्रतिमाह समीक्षा करने के निर्देश दिये हैं। इसके अलावा, उन्होंने कस्तूरबा गांधी स्कूलों का नियमित तौर पर दौरा कर स्कूल में शिक्षा की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देने के साथ-साथ बच्चों में पढ़ने की आदत को विकसित करने के लिए कोई विशेष कार्यक्रम चलाये जाने के भी निर्देश दिए, ताकि बचपन से ही मानसिक विकास हो सके।
श्री कौशल हरियाणा स्कूल शिक्षा परियोजना परिषद् एवं समग्र शिक्षा की कार्यकारी कमेटी की तीसरी बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में बताया गया कि हरियाणा में समग्र शिक्षा के तहत केंद्र सरकार द्वारा वर्ष 2021-22 के लिए लगभग 1442 करोड रुपये की वार्षिक कार्ययोजना को मंजूरी प्रदान की गई है। बैठक में बताया गया कि प्रदेश के स्कूलों में 8733 सिविल कार्य में से 5264 कार्य पूर्ण हो चुके हैं और 1468 कार्य प्रगति पर हैं, जिन्हें मार्च, 2022 तक पूरा कर लिया जायेगा। बैठक में 2018-19, 2019-20 और 2020-21 की समग्र शिक्षा वार्षिक रिपोर्ट को भी मंजरी दी गई।
बैठक में बताया गया कि हरियाणा को भविष्य की तैयारी (युवाओं के लिए कौशल और वोकेशनल शिक्षा) पर विषयगत समूह का नेतृत्व करने के लिए चयन किया गया है। राज्य के 1074 सरकारी स्कूलों में यह प्रोजेक्ट क्रियान्वित किया गया है, जिसके तहत 12 विभिन्न क्षेत्रों में 1.85 लाख विद्यार्थियों को एनरॉल किया गया है। पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर 45 स्कूलों में 9 विभिन्न क्षेत्रों नामतः ओटोमेटिव, आईटी, रिटेल, प्राईवेट सिक्योरिटी, ब्यूटी एंड वेलनैस, हेल्थटकेयर, कृषि, मीडिया एंटरटेनमेंट और पर्यटन संबंधित 50 इन्क्यूटबेशन सेंटर स्थापित किए गए हैं। बैठक में बताया गया कि मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल द्वारा कौशल विकास पोर्टल लॉन्च किया गया था। इस पोर्टल पर अब तक 1,47,108 विद्यार्थियों ने वोकेशनल शिक्षा के लिए नामांकित किया है।
बैठक में बताया गया कि प्रदेश के सरकारी प्राईमरी एवं सकैंडरी स्कूलों में विद्यार्थियों का विज्ञान के प्रति रूझान बढाने के लिए प्रदेश के स्कूलों में हरियाणा स्कूल साईंस प्रोमोशन कार्यक्रम चलाया जा रहा है। इस कार्यक्रम के तहत स्कूलों में सांईस लैब स्थापित की गई हैं।
बैठक में बताया गया कि पढ़े भारत-बढ़े भारत कार्यक्रम के तहत बच्चों में पढ़ने की आदत को विकसित करने के लिए विभिन्न गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं। इसके अतिरिक्त, एक नई पहल भी शुरू की गई है, जिसके तहत वरिष्ठ नागरिक स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने आते हैं।
बैठक में बताया गया कि प्रदेश में 32 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय चलाये जा रहे हैं जिनमें लगभग 2 हजार से अधिक बालिकाएं शिक्षा ग्रहण कर रही हैं। 24 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों को अपग्रेड करके बाहरवीं कक्षा तक किये जाने को अनुमति हेतु सरकार को प्रस्ताव भेजा गया है और अनुमति प्राप्त होने पर 12 स्कूलों में छठी कक्षा से 12वीं तक की कक्षाएं आगामी शैक्षणिक सत्र से शुरू की जा सकती हैं।
बैठक में बताया गया कि ऑउट ऑफ स्कूल बच्चों के लिए विशेष ट्रेनिंग कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। ऐसे बच्चों के लिए स्कूलों में उनकी आयु के अनुसार शिक्षा में रही कमी को दूर करने तथा उनकी सीखने व पढ़ने की क्षमता में और वृद्धि करने हेतु चालू वित्त वर्ष में 1121 विशेष ट्रेनिंग सेंटर स्थापित किए गए हैं। इसके तहत, कानून का उल्लंघन करने वाले 150 किशोरों को भी कवर किया गया है।
बैठक में बताया गया कि शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार करने के उद्देश्य से शिक्षकों के लिए विभिन्न प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। साथ ही, स्कूल स्तर पर विद्यार्थियों की सुरक्षा एवं बचाव हेतु शिक्षकों के लिए उन्मुखीकरण कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं। इसके अलावा, स्कूलों में कला एवं सांस्कृतिक विकास को बढ़ावा देने के लिए एक भारत-श्रेष्ठ भारत के तहत हरियाणा एवं तेलंगाना के विद्यार्थियों के मध्य कला एवं संस्कृति एक्सचेंज कार्यक्रम भी आयोजित किए जा रहे हैं। छात्राओं के लिए आत्मरक्षा हेतु रानी लक्ष्मीबाई आत्मरक्षा प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाया जा रहा है।
बैठक में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री टी. वी. एस. एन. प्रसाद, स्कूल शिक्षा विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री महावीर सिंह, महिला एवं बाल विकास विभाग की प्रधान सचिव श्रीमती जी. अनुपमा, हरियाणा शिक्षा परियोजना परिषद के राज्य परियोजना निदेशक श्री जे. गणेशन तथा जिलों के अतिरिक्त उपायुक्तों ने भाग लिया।
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