नई दिल्ली- किसान आंदोलन को दो हफ्ते हो गए। कल केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने किसान नेताओं से बात की जो सफल नहीं रही। किसान दिल्ली की कई सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं जो उनके लिए जानलेवा भी साबित हो रहा है।अब तक 8 किसान जान गंवा चुके हैं। कल ‘भारत बंद’ के आह्वान पर जींद के गांव उझाना तथा गढ़ी के बीच धरने पर बैठे एक किसान की कथित तौर पर हृदय गति रुकने से मौत हो गई।
इसके पहले झज्जर के टीकरी बॉर्डर पर धरने पर बैठे एक किसान की मौत हुई और पंजाब के मोगा के रहने वाले मेवा सिंह की हार्ट अटैक के कारण मौत हुई। सोनीपत के कुंडली बॉर्डर पर एक युवा किसान अजय की मौत हो गई। आंदोलन के दौरान अब तक 8 किसानों की मौत हो चुकी है। इनमें से पांच की मौत टीकरी बॉर्डर पर चल रहे धरने पर हुई हैँ।
कुंडली बॉर्डर पर सोनीपत के बरोदा का रहने वाला 32 वर्षीय अजय काफी दिनों से धरने पर बैठा था। रात को खाना-खाने के बाद वह सड़क पर सो गया था। इस मामले की सूचना पर पहुंची कुंडली थाना प्रभारी रवि कुमार ने बताया कि शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम कराया। किसान की मौत पर भाकियू नेता गुरनाम सिंह चढूनी व अन्य ने अजय के शहीद होने के नारे लगाए। वहीं, किसान की मौत की जानकारी मिलने पर बरोदा से कांग्रेस विधायक इंदूराज नरवाल भालू ने उनके परिवार को 10 लाख रुपए की आर्थिक मदद देने की घोषणा की है। साथ ही सरकार से उसके परिजनों को एक करोड़ रुपये व सरकारी नौकरी देने की मांग की है।
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