नई दिल्ली: कोरोना को लेकर दुनिया के कई शहर एक तरह से वीरान हो गए हैं। सड़कें सूनी हैं। लाखों लोग घरों से बाहर नहीं निकल रहे हैं। भारत में तमाम स्कूल कालेज बंद कर दिए गए हैं तो अब कई सरकारी दफ्तर भी बंद हो सकते हैं। कोरोना का वायरस मानव शरीर में 14 दिन का जीवन सर्कल पूरा करता है। इसके बाद खत्म हो जाता है। आज 19 मार्च है। 31 मार्च तक नए मरीज सामने नहीं आएंगे तो इसका मतलब होगा कि कोरोना का संक्रमण अपने अगले चरण में नहीं पहुंचा।
इसके देश में महामारी के रूप में तब्दील होने की आशंका कम हो जाएगी। यदि लापरवाही बरती और कोरोना तीसरे चरण में पहुंच गया तो फिर इस पर नियंत्रण करना मुश्किल काम हो जाएगा। यह पूरे देश में महामारी के रूप में बदल जाएगा। तीसरे चरण में न पहुँचने के लिए भारत सरकार अपनी तरफ से हर प्रयास कर रही है और यही कारण है कि ज्यादा अधिक लोग एकत्रित हो रहे हैं उन जगहों को बंद कर दिया जा रहा है। देश के कई बड़े मंदिरों में ताला लग गया है। देश की कई बड़े बाजारें भी बंद हो सकती हैं जहाँ हजारों लोग एकत्रित होते हैं। ऐसी अफवाह के बाद लोग जरूरी चीजें जमा करने लगे हैं। सरकारी राशन की दुकानों पर लम्बी लाइनें लग रही हैं लेकिन इसी बीच केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। अब उपभोग्ता 6 महीने का इकठ्ठा राशन पाएंगे।
देश के कई राज्यों में राशन घोटाले भी सामने आये हैं जिनमे उपभोगताओं को कई-कई महीने बाद राशन दिया जाता है लेकिन अगर 6 माह का इकठ्ठा मिलने लगेगा तो ऐसे घोटालों पर रोक लगेगी।
खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान ने एलान किया है कि सस्ता आनाज पाने के हकदार 75 करोड़ लोगों को छह माह का राशन एक साथ उठाने की छूट दी जाएगी। उन्होंने कहा कि हमारे गोदामों में अनाज का पर्याप्त भंडार है। हमने सभी राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों से कहा है कि वे गरीब लोगों को छह माह के अनाज का कोटा एक साथ उठाने की छूट दें।
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