चंडीगढ़, 22 दिसम्बर- केन्द्रीय जल शक्ति व सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री रतन लाल कटारिया ने कहा कि नागरिक संशोधन बिल दोनों सदनों से पास होने के बाद राष्ट्रपति द्वारा हस्ताक्षर होते ही नागरिकता संशोधन अधिनियम-2019 बन गया है।
यह जानकारी उन्होंने आज यमुनानगर में आयोजित एक कार्यक्रम में बोलते हुए दी। उन्होंने कहा कि भारत में रहते हुए अन्य पड़ोसी देशों के अल्पसंख्यकों को डरने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि 1947 से नागरिकता संशोधन अधिनियम की जरूरत समझी जा रही थी, परन्तु कोई हिम्मत नहीं कर रहा था। उन्होंने कहा कि देश की आजादी के समय अन्य पडोसी देशों में अल्पसंख्यक हिन्दू, सिख, इसाई, जैन, बौद्घ व पारसी लगभग 25 प्रतिशत थे। जो आज केवल 2 प्रतिशत रह गए हैं। अल्पसंख्यकों पर अन्य दूसरे देशों में इतने हत्याचार हुए जिन्हें सुनकर रूहें कांप जाती है व रोंगटे खडे हो जाते हैं। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दूसरे देशों के अल्पसंख्यकों को भारत की नागरिकता दिलाने के लिए महत्वपूर्ण कदम अल्पसंख्यकों के हित में उठाया है जो कि एक सराहनीय कदम है।
उन्होंने कहा कि भारत एक लोकतांत्रिक देश है जहां सभी को समान अधिकार प्राप्त हैं। उन्होंने कहा कि नागरिकता संशोधन बिल दोनों सदनों में भारी मतों से पास होकर अधिनियम बना है और इसके खिलाफ फिर भी देश के कई हिस्सों में रोष व प्रदर्शन किए जा रहे हैं जोकि ठीक नहीं है। ऐसे रोष प्रदर्शनों में भीड़ में उपद्रवी भी शामिल हो रहे हैं व उपद्रवी बाहर से आकर भीड में घूसकर वारदात कर सकते हैं। परन्तु ऐसे उपद्रवियों एवं असामाजिक तत्वों को जो देश के हित में इस अहम फैसले में रोड़ा अटकाएंगे उनके खिलाफ सख्त कार्यवाही की जाएगी।
कार्यक्रम में यमुनानगर के विधायक घनश्याम दास अरोड़ा ने केन्द्रीय जल शक्ति व सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री रतन लाल कटारिया व 1988 से 2012 तक यमुनानगर में रह रहे पिशौरी बिरादरी के लगभग 22 परिवारों के सदस्यों का स्वागत किया और कहा कि यमुनानगर में पडोसी देशों से आए अल्पसंख्यकों को पूरा मान-सम्मान दिया जाएगा।
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