कुरूक्षेत्र राकेश शर्मा: हरियाणा में चुनावी बिगुल बज जाने के बाद आया राम गया की राजनीति भी शुरू
हो गई तो टिकट के चाहवान चुनावी समर में कब किस दल का साथ छोड दे कोई नही जानता कहा भी जाता है कि राजनीति में सब कुछ सम्भव है असम्भव कुछ भी नही। लाडवा विधानसभा से कांग्रेस पार्टी की टिकट पर लाडवा विधानसभा से दो बार किस्मत आजमा चुकी कैलाशो सैनी जोकि सैनी समुदाय की कदावर नेता के रूप में जानी जाती है । कांग्रेस में अहम पदों पर अपनी भूमिका निभा चुकी कैलाशो सैनी 2019 के चुनावों में भी पूर्व मुख्यमंत्री भूपिंदर सिंह हुड्डा ने जो लगभग 38 सदस्यों की एक कमेटी बनाई थी सैनी की गिनती उन विश्वास पत्रों में होती है। लेकिन ऐन मौके पर कांग्रेस को छोड़ कर भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लेने से समीकरण बिगाड़ दिए है।
कांग्रेस में आने से पहले कैलाशो सैनी इंडियन नेशनल लोकदल के प्रदेश महिला विंग की प्रधान रही और सक्रिय नेता के रूप में भूमिका निभाई । वर्ष 1993-1998 में जिला परिषद की चैयरमैन रही।
वर्ष 1998 में इंडियन नेशनल लोकदल से कुरूक्षेत्र लोकसभा का चुनाव लडा तो 333387 मत मिलें प्राप्त कर 12वीं लोकसभा के सदस्य के रूप में चुनी गई । कांग्रेस पार्टी से कुलदीप शर्मा को हार का सामना करना पड़ा।
वर्ष 1999 मे दुबारा कुरूक्षेत्र लोकसभा से सासंद का चुनाव लड़ने के लिए मैदान में उतरी ओर 438701 बम्पर मतों से जीत दर्ज की इस बार कांग्रेस के उमीदवार ओमप्रकाश जिंदल को हार का सामना करना पडा।
2009 में छोडी इनैलों
कैलाशो सैनी ने वर्ष 2009 में इनैलो पार्टी को अलविदा कह दिया और कांग्रेस का हाथ थाम लिया। कांग्रेस पार्टी में अपनी सक्रियता के कारण वर्ष 2009 में लाडवा विधानसभा का चुनाव लड़ा लेकिन यहाँ भी निराशा हाथ लगी और 30000 मत प्राप्त हुए ओर इंडियन नेशनल लोकदल के शेर सिंह बड़शामी को 32505 मत प्राप्त कर विजय हासिल की। वर्ष 2014 के चुनाव में कांग्रेस पार्टी ने दुबारा कैलाशो सैनी को मैदान में उतारा लेकिन इस बार भी हार का सामना करना पड़ा जहाँ कांग्रेस का वोट प्रतिशत तो बड़ा लेकिन विजय प्राप्त नही हुई और इस बार 33052 मत लेकर तीसरे स्थान पर रहकर ही संतोष करना पड़ा। भारतीय जनता पार्टी के डॉक्टर पवन सैनी को लाडवा की जनता ने 42455 मत देकर कमल खिलाया।
2019 के चुनाव में लाडवा ओर रादौर से ठोंक रही थी ताल----
कैलाशो सैनी रादौर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने का मन बना चुकी थी और कार्यालय भी खोल दिया था लाडवा में कम सक्रियता के कारण चुनावी चर्चा 2019 के लिए सैनी को रादौर से चुनाव लड़ने की बात कही जा रही थी लेकिन लाडवा में कांग्रेस कार्यकर्ता बैठक बुला कर लाडवा से चुनाव लड़ने को हवा दे दी। जिसके साथ साथ लाडवा सीट पर कांग्रेस से टिकट के चहवानो में कैलाशो सैनी का नाम भी जुड़ गया। लेकिन मंगलवार को ही सोशल मीडिया पर कैलाशो सैनी भाजपा में जाने की अटकलों की चर्चा जोर पकड़ने लगी और बुधवार को अपने कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस का हाथ छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया
कैलाशो सैनी भाजपा में जाने के बाद कयास लागए जा रहे है कि पार्टी नारायणगढ़ विधानसभा से इनको अपना उमीदवार बना सकती है फिलहाल इसकी कोई पुष्टि नही हो पाई लेकिन चुनावी समर में चर्चाओं का बाजार गर्म है ।
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