चंडीगढ़: लगभग तीन महीने बाद होने वाले हरियाणा विधानसभा चुनावों के लिए सत्तारूढ़ भाजपा की टिकट के लिए मारामारी मच सकती है। प्रदेश की 90 विधानसभा सीटों पर एक हजार से ज्यादा भाजपा कार्यकर्ता टिकट की दावेदारी जता सकते हैं। हर विधानसभा सीट पर 10 से 15 भाजपा नेता टिकट का दावा ठोकने का प्लान बना रहे हैं। कांग्रेस की बात करें तो फ़िलहाल कई विधानसभा सीटों पर पांच से ज्यादा दावेदार नहीं दिख रहे हैं। इनलो और जजपा का हाल और बेहाल है। कई विधानसभा सीटों पर दोनों पार्टियों के मजबूत दावेदार तक नहीं हैं। ये पार्टियां किसी को भी टिकट पकड़ा सकती हैं और बसपा का भी यही हाल है। इस बार बसपा की टिकट के दावेदार बहुत कम सीटों पर दिख रहे हैं और राजकुमार सैनी की लोकतंत्र सुरक्षा पार्टी का हाल सबसे ज्यादा बेहाल है।
भाजपा की बात करें तो इस बार मनोहर लाल खट्टर जिसे चाहेंगे उसे ही टिकट मिलेगी और सूत्रों की मानें तो कई विधायकों की टिकट कट सकती है। इस बार कुछ उन भाजपा नेताओं को भी टिकट मिल सकती है जो वर्षों से पार्टी का झंडा डंडा उठा रहे हैं लेकिन चुनाव के समय में उन्हें नजरअंदाज कर किसी मालदार को टिकट दे दी जाती है। सूत्रों की मानें तो भाजपा हाईकमान खट्टर को फ्री हैंड कर सकता है और जिसे चाहेंगे उसे टिकट मिलेगी। कई नगर निगमों, पंचायतों और जींद और लोकसभा चुनावों में बड़ी जीत के बाद खट्टर का कद काफी बढ़ गया है।
भाजपा की टिकट न मिलने से कई नेताओं ने दल बदल लिए लेकिन कई नेता ऐसे भी हैं जो पार्टी में बने रहे। ऐसे नेताओं की इस बार लाटरी लग सकती है और पार्टी से वफादारी का उन्हें इनाम मिल सकता है। सूत्रों की मानें तो जुलाई के तीसरे या अगस्त के पहले हफ्ते तक प्रदेश में एक और सर्वे होगा और जिताऊ भाजपा नेताओं की तलाश की जाएगी और उन्ही को टिकट मिल सकती है। सर्वे में प्रदेश के जिन विधायकों का रिपोर्ट कार्ड में कोई कमी देखी जाएगी उनकी टिकट पर कैंची चलनी तय है। सूत्रों की माने तो पहले जो सर्वे गए हैं उनमे कामचोर विधायकों की लिस्ट ऊपर तक पहुंचा दी गई है और जिन विधायकों ने इस कार्यकाल में अपना विकास ज्यादा किया उनकी भी टिकट कट सकती है। पार्टी के मेहनती युवाओं को मौका मिल सकता है।
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