नई दिल्ली: लोकसभा के लिए दो चरणों के मतदान हो गए हैं लेकिन अब तक कांग्रेसी नेता मणिशंकर अय्यर का कोई अता-पता नहीं है ऐसे में एक वरिष्ठ कांग्रेसी नेता उनकी कमी पूरी करते दिख रहे हैं और कांग्रेस की लुटिया डुबोने का हर प्रयास कर रहे हैं। कांग्रेस के घोषणा पत्र ने कांग्रेस की काफी किरकिरी की थी जब देशद्रोह की धारा हटाने की बात सहित सेना से सम्बंधित कुछ वादे घोषणा पत्र में किये गए थे। उस घोषणापत्र को बनाने में अहम् भूमिका निभाने वाले कांग्रेस की मेनिफेस्टो कमिटी के सदस्य सैम पित्रोदा ने बाकाकोट एयरस्ट्राइक पर दिए अपने विवादित बयान को एक बार फिर से सही करार दिया है। सैम पित्रोदा ने कहा कि मैंने जो कुछ भी कहा था सही कहा था। उन्होंने कहा कि कुछ सप्ताह पहले मैंने बालाकोट को लेकर कुछ पूछा था। इसके तुरंत बाद पीएम ट्वीट करने लगे, बीजेपी मुखिया ने वार किए और प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई। कांग्रेस नेता मुझसे पूछने लगे कि मैंने ऐसा क्यों कहा? मैंने कहा कि ऐसा क्या कह दिया है, मैंने सत्य कहा है। पित्रोदा ने उस समय फिर भाजपा को बड़ा मौका दे दिया है जब चुनाव हो रहे हैं।
आपको बता दें कि पुलवामा हमले के बाद जब एयर स्ट्राइक हुई थी तो कांग्रेसी नेता पित्रोदा ने ही सबसे पहले सबूत माँगा था। पित्रोदा ने कहा था कि अगर एयरफोर्स ने तीन सौ लोगों को मारा तो ठीक है। क्या इसके तथ्य और सबूत दिए जा सकते हैं?' पित्रोदा ने कहा कि भारत के लोगों को जानने का अधिकार है कि एयर फोर्स ने पाकिस्तान में कितनी तबाही मचाई और उसका क्या फर्क पड़ा।मणिशंकर अय्यर की कमी ये पूरी करेगा।— चौकीदार इंडियन (@INDIAN0015) April 20, 2019
उन्होंने कहा था मैंने न्यू यॉर्क टाइम्स में रिपोर्ट पढ़ी इसलिए और ज्यादा जानने की इच्छा है। क्या वाकई में हमने हमला किया? क्या वाकई में 300 लोग मारे गए? एक नागरिक होने के नाते मुझे जानने का अधिकार है और मेरी ड्यूटी है कि मैं सवाल करूं। इसका मतलब यह नहीं कि मैं राष्ट्रवादी नहीं हूं या मैं उधर का पक्ष ले रहा हूं। अगर आप कहते हैं कि 300 लोग मारे गए तो वैश्विक मीडिया यह क्यों कह रहा है कि कोई नहीं मारा गया। मुझे एक नागरिक के तौर पर यह बुरा लगता है। उस समय कांग्रेस जमकर घिरी थी, कहा जा रहा था कि कांग्रेस को अपने देश की सेना पर भरोषा नहीं है। न्यू यॉर्क टाइम्स पर है। अब कहा जा रहा है कि पित्रोदा के रूप में मणिशंकर वापस आ गए हैं।
Post A Comment:
0 comments: